पेपर ट्रेडिंग के फायदे और नुकसान

स्टाम्प ड्यूटी कैलकुलेटर
होम लोन लेते समय, घर की लागत के अलावा और कई खर्चों को ध्यान में रखना ज़रूरी होता है. स्टाम्प ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन शुल्क आपके नए घर के स्वामित्व को रजिस्टर करते समय लगने वाले कुछ अतिरिक्त शुल्क हैं. बजाज फिनसर्व स्टाम्प ड्यूटी कैलकुलेटर आपको अपनी प्रॉपर्टी पर लागू स्टाम्प ड्यूटी की राशि का सटीक आकलन करने में मदद करने के लिए डिज़ाइन किया गया है, ताकि आपको यह पता चले कि आपको कितना होम लोन चाहिए.
स्टाम्प ड्यूटी क्या है?
अगर आप कोई नई प्रॉपर्टी खरीद रहे हैं, तो आपको स्टाम्प ड्यूटी नामक शुल्क का भुगतान करना होगा, यह शुल्क राज्य सरकार द्वारा लगाया जाता है. इस शुल्क का उपयोग आपके नाम पर आपकी प्रॉपर्टी का रजिस्ट्रेशन सत्यापित करने और आपके प्रॉपर्टी के स्वामित्व के डॉक्यूमेंट्स को मान्यता प्रदान करने के लिए किया जाता है. प्रॉपर्टी रजिस्ट्रेशन डॉक्यूमेंट पर स्टाम्प शुल्क का भुगतान किए बिना, आपको विचाराधीन प्रॉपर्टी का कानूनी मालिक नहीं माना जाएगा.
भारत में स्टाम्प ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन शुल्क कैसे हैं?
स्टाम्प ड्यूटी आम तौर पर प्रॉपर्टी की मार्केट वैल्यू की 5-7% होती है. रजिस्ट्रेशन शुल्क प्रॉपर्टी की मार्केट वैल्यू का 1% होता है. हालांकि, ये शुल्क लाखों रुपये में हो सकते हैं. अपना घर खरीदते समय और अपने नाम पर प्रॉपर्टी रजिस्टर करवाते समय पैसों की कोई कमी न होने के लिए, यह सुनिश्चित करें कि जब आप होम लोन राशि के लिए अप्लाई करते हैं तो आपको स्टाम्प ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन शुल्क को भी ध्यान में रखें.
आपको स्टांप ड्यूटी के रूप में कितनी राशि का भुगतान करना है, यह विभिन्न कारकों पर निर्भर करता है. ये हैं:
- प्रॉपर्टी की मार्केट वैल्यू
- प्रॉपर्टी का प्रकार, फ्लोर की संख्या के साथ
- प्रॉपर्टी का उद्देश्य- रेजिडेंशियल या कमर्शियल
- प्रॉपर्टी का स्थान
- प्रॉपर्टी के मालिक की आयु और लिंग
क्या स्टाम्प ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन शुल्क पेपर ट्रेडिंग के फायदे और नुकसान होम लोन में शामिल हैं?
यह एक नियम है कि, स्टाम्प ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन शुल्क लेंडर्स द्वारा स्वीकृत होम लोन राशि में शामिल नहीं होते हैं. इनका भुगतान खरीदार को अपनी जेब से करना होता है.
विभिन्न शहरों में स्टाम्प शुल्क शुल्क
स्टाम्प ड्यूटी की दरें*
5% (रु. 35 लाख से अधिक पर)
3% (रु. 21-35 लाख पर)
2% (रु. 20 लाख से कम पर)
रु. 40 लाख से अधिक - 8%
* स्टाम्प ड्यूटी के अलावा लागू रजिस्ट्रेशन शुल्क का भुगतान किया जाना चाहिए
डिस्क्लेमर
ये दरें संकेतक हैं और कानूनों और सरकारी दिशानिर्देशों के आधार पर बदलाव के अधीन हैं. कस्टमर को वेबसाइट पर मौजूद जानकारी के आधार पर कोई भी निर्णय लेने से पहले पेपर ट्रेडिंग के फायदे और नुकसान स्वतंत्र रूप से कानूनी परामर्श लेने की सलाह दी जाती है. यूज़र के निर्णय की ज़िम्मेदारी पूरी तरह से यूज़र पर होगी. किसी भी घटना में बीएफएल या बजाज ग्रुप या उसका कोई एजेंट या इस वेबसाइट के निर्माण, उत्पादन या डिलीवरी में शामिल किसी भी अन्य व्यक्ति को किसी भी प्रत्यक्ष, अप्रत्यक्ष, दंडात्मक, आकस्मिक, विशेष, परिणामी नुकसान (राजस्व या मुनाफे की हानि, बिज़नेस या डेटा की हानि सहित) या उपरोक्त जानकारी पर यूज़र की निर्भरता से जुड़े किसी भी नुकसान के लिए उत्तरदायी नहीं माना जाएगा.
क्या स्टाम्प ड्यूटी को टैक्स कटौती के रूप में क्लेम किया जा सकता है?
हां, स्टाम्प ड्यूटी को इनकम टैक्स ऐक्ट की धारा 80C के तहत टैक्स कटौती के लिए क्लेम किया जा सकता है जिसकी अधिकतम लिमिट रु. 1,50,000 होगी.
क्या स्टाम्प ड्यूटी वापसी योग्य है?
नहीं, स्टाम्प ड्यूटी रिफंडेबल नहीं है.
क्या स्टाम्प ड्यूटी में GST शामिल है?
अब तक, स्टाम्प ड्यूटी और GST प्रॉपर्टी की बिक्री पर लगाए जाने वाले अलग-अलग शुल्क हैं, और इनका एक दूसरे पर कोई प्रभाव नहीं पड़ता है.
स्टाम्प ड्यूटी का भुगतान कैसे करें?
आप निम्न में से किसी भी तरीके से, स्टाम्प ड्यूटी का भुगतान ऑनलाइन या ऑफलाइन कर सकते हैं:
Mother's Day 2022: अपनी मां को दे सकते हैं ये 5 अनूठे उपहार, जानिए इनसे जुड़ी हर जरूरी बात
Best Gifts for Mother's Day 2022: मदर्स डे के दिन बहुत सारे लोग अपनी मां को खूबसूरत तोहफा देना चाहते हैं. कोई भी व्यक्ति इस बात से असहमत नहीं होगा कि मां का स्थान कोई और नहीं ले सकता. ऐसे में आपको अपनी मां को ऐसा ही खूबसूरत गिफ्ट देना चाहिए, जो सबसे यूनिक हो.
1. उनके लिए बुक करिए मेडिकल चेकअपः आपकी मां का अच्छा हेल्थ आपके लिए सबसे बड़ा तोहफा होता है. लेकिन उम्र बढ़ने के साथ कई तरह की बीमारियां शरीर में अपना घर बनाने लगती हैं. ऐसे में इस मदर्स डे आपको अपनी मां के लिए मेडिकल चेकअप बुक करना चाहिए. इस पर 3,000-5,000 रुपये का खर्च आएगा. इस रकम पर आपको सेक्शन 80D के तहत टैक्स बेनिफिट भी मिल जाएगा.
2. मां के नाम पर शुरू कीजिए SIP: अगर आपकी मां का फाइनेंशियल पोर्टफोलिया बहुत बड़ा नहीं है तो आपको उनके नाम पर म्यूचुअल फंड में इंवेस्टमेंट शुरू कर सकते हैं. आप SIP के जरिए म्यूचुअल फंड में इंवेस्टमेंट कर सकते हैं.
3. सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम अकाउंटः अगर आपकी मां की उम्र 60 साल से ज्यादा है तो आपको उन्हें मार्केट से जुड़े इंस्ट्रुमेंट में पैसे लगाने के लिए नहीं कहना चाहिए. इसकी जगह आपको सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम (Senior Citizen's Saving Scheme) में पैसे लगाने चाहिए. इस स्कीम में इंवेस्ट करने पर 7.4 फीसदी का एश्योर्ड रिटर्न मिलता है.
4. पीएम वय वंदना योजना (PM Vaya Vandana Yojana) में करिए इंवेस्ट: सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम की तरह प्रधानमंत्री वय वंदना योजना (Pradhan Mantri Vaya Vandana Yojana) को इस तरह से डिजाइन किया गया है, जिससे रिटायर होने वालों को रेग्युलर इनकम मिलता रहे. 10 साल की इस स्कीम में मौजूदा वक्त में 7.40 फीसदी का ब्याज मिलता है.
5. पेपर गोल्ड कर सकते हैं गिफ्टः अगर आपकी मां को सोना पसंद है तो आपको उन्हें पेपर गोल्ड की खूबियों से अवगत करना चाहिए. उनके लिए आप सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड खरीद सकते हैं या फिर ETF खरीद सकते हैं. इसके लिए आपको अपनी मां के नाम से डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खुलवाना होगा. लेकिन इंवेस्टमेंट के लिहाज से पेपर गोल्ड फिजिकल गोल्ड से काफी सस्ता पड़ता है.
Intraday Trading कैसे सीखे | Intraday Trading से पैसे कैसे कमाए 2022
कई ऐसे रिटेल ट्रेडर हैं जो घर बैठे ट्रेडिंग करके अच्छा खासा पैसा कमाते हैं, बहुत सारे लोगो को लगता है ट्रेडिंग करके सिर्फ पैसा डूबता है लेकिन ऐसा नहीं है ट्रेडिंग करके भी पैसे बनाये जाते है और शेयर्स खरीद कर लम्बे समय तक होल्ड करके रख कर भी पैसे कमाए जाते है
इंट्राडे ट्रेडिंग से पैसा तो कमाया जाता है, लेकिन लोग यह सोचकर बाजार में आ जाते हैं कि इंट्राडे ट्रेडिंग करके 1 दिन में बहुत पैसा कमा लेंगे और उन्हें ट्रेडिंग का ज्ञान नहीं है
Trading से पैसा कमाने से पहले आपको Stock Market के बारे में पूरी तरह ज्ञान होना चाहिए उसके बाद ही आप Intraday करके पैसे कमा सकते है, यदि आपको Stock Market का ज्ञान नहीं है तो आप Stock Market से दूर ही रहे क्युकी लोगो को सिर्फ ऐसा लगता है की सिर्फ Stock Market से पैसे बनाये जाते है लेकिन यहाँ पर लोगो का पैसा डूबता ही है
यदि आपके पास कुछ अमाउंट है तो आप उसे बिना Risk वाले जगह पर इन्वेस्ट कर सकते है जैसे की FD करवा सकते है Land खरीद सकते है और भी ऐसे बहुत सारे जगह है जहा पर आप बिना कोई जोखिम उठाये अपने पैसे को बड़ा कर सकते है
Intraday से पैसे कमाने के लिए आपके पास ज्ञान होना बहुत जरुरी है जैसे की आपको SNR Level के बारे में पता होना चाहिए, हर Candlestick के बारे में पता होना चाहिए और कब Market में Breakout होता है तो Trade करना चाहिए, यदि आपको इन सभी चीजों का ज्ञान है तभी आप Trading करके पैसे कमा सकते है
यदि आप एक नौसिखिया हैं तो आप किसी भी Indicator का उपयोग करके Trading कर सकते हैं, लेकिन शेयर बाजार में व्यापार करने से पहले, उस Indicator की मदद से अभ्यास करें, उसके बाद ही Trading करना शुरू करें
Trading आपको कोई सीखा भी देगा फिर भी आप Stock Market से शायद ही पैसा कमा पाएंगे क्युकी ये सभी चीजे आपको खुद से Practice करना पड़ेगा, कौन सी स्ट्रेटेजी आपके लिए काम कर रही है ये आपको Demo Account में Trading करके पता चलेगा
यदि आपने किसी Strategy पर बार-बार काम किया है तो आपको अनुभव हो चूका होगा की इस स्ट्रेटेजी का उपयोग करके Stock Market में Trading से पैसे कैसे कमाए
Trading करके सिर्फ वही लोग पैसा कमाते है जिनके पास ज्ञान होता है, बाकि जितने भी लोग होते है जो बिना सीखे Trading करना शुरू कर देते है उनका पैसा हमेशा डूबता है
मार्किट में प्रवेश यह सोच कर न करे की आपको यहाँ से पैसे कमाना है बल्कि यह सोच करे की आप क्या-क्या सीख सकते है, शुरआत में कम से कम Stock Market में Trading करके पैसे कमाना चाहते है तो कम से कम 6 Month से लेकर 1 Year तक Demo Account में Practice करे
यदि आपने कई बार रणनीति का अभ्यास किया है, तो आप उस रणनीति का उपयोग करके शेयर बाजार से पैसा कमा सकते हैं, तो शुरआत में प्रयास सिखने का करे और अपने Demo Account का पैसा बड़ा करके देखे , यदि आप अपने Demo Account का पैसा Trading करके बड़ा कर पारे है तो आप Real Account से भी Trading करके पैसे कमा सकते है
Table of Contents
Intraday Trading कैसे सीखे | Intraday Trading से पैसे कैसे कमाए
Intraday Traders को इन सभी बातो के बारे में पता होना चाहिए Stock Market से पैसे कमाने से पहले
1. Paper Trading शुरू करे
Trading से पैसे कमाने से पहले आपको Paper Trading करना चाहिए, यदि आप बिना Paper Trading किये बिना Stock Market में Trading करने लगेंगे तो इससे आपका नुकसान हो सकता हैं
पेपर ट्रेडिंग करके आप उस डेमो अकाउंट की राशि बढ़ा सकते हैं, अगर आप डेमो अकाउंट की राशि बढ़ाते हैं, तो इसका मतलब है कि आप इंट्राडे करके पैसे कमा सकते हैं
ट्रेडिंग से पैसा तो कमाया जाता है, लेकिन जो लोग बिना सीखे ट्रेडिंग से पैसा कमाने आते हैं, वे लोग अपना पैसा खो देते हैं
पेपर ट्रेडिंग करें और एक रणनीति को बार-बार आजमाएं, अगर वो स्ट्रैटेजी डेमो अकाउंट में काम कर रही है, तो आप असली पैसे से भी ट्रेडिंग करके उस रणनीति से पैसा कमा सकते हैं
2. (Greedy) लालची न बने
बहुत से Trader अपना पैसा खो देते हैं क्योंकि वे बहुत लंबे मुनाफे की तलाश में रहते हैं, आप भी बड़े मुनाफे की तलाश में हो सकते हैं लेकिन शुरुआत में लालची न हों क्योंकि आपने अभी शेयर बाजार में प्रवेश किया है, तो आपको छोटे पेपर ट्रेडिंग के फायदे और नुकसान मुनाफे का लक्ष्य बनाना चाहिए
शुरुआत में छोटे मुनाफे को बुक करें और जैसे ही आप शेयर बाजार में अनुभवी हो जाये, उसके बाद आप बड़ा मुनाफा बुक करने का Target बना सकते है
3. Overtrading से बच कर रहे
जितने भी बड़े Traders होते है वो लोग बहुत कम Trading करते है, Overtrading करने वाले लोग हमेशा Loss में रहते है, जितना ज्यादा आप कम Trading करेंगे उतना ही आपके लिए अच्छा होगा, Sure Shot Position मिलने पर ही Trading करे
4. Indicators पर काम करे
शुरआत में आपको Indicator पर ही ज्यादा काम करना चाहिए, किसी एक Indicator पर Practice करे और फिर उस Strategy का उपयोग करके Demo Account से पैसे बना कर देखे
Indicator बहुत सारे है जैसे की MACD, Moving Average, Stochastic Oscillator, Bollinger Bands इन सभी Indicator पर आपको काम करना चाहिए और Strategy बनाना चाहिए, यदि आप किसी Indicator की मदद ले कर बहुत बार practice किये हुए है तो उसका इस्तेमाल करके Real Account से भी पैसे बना सकते है
5. शेयर बाजार की किताबें पढ़ें
शेयर बाजार की किताबे पढ़ कर बहुत सारा ज्ञान बटोर सकते है, शेयर बाजार की किताबो में आपको बहुत कुछ सिखने को मिलेगा की कैसे Trading करते है और कैसे अपने पैसे को Trading करके बढ़ाया जाये ]
अंतिम शब्द
ट्रेडिंग से पैसा तो कमाया जाता है, लेकिन ट्रेडिंग तभी करनी चाहिए जब आप अच्छी तरह अभ्यास कर लेंगे और सीख जाएंगे, यदि आप ट्रेडिंग में करियर बनाना चाहते हैं, तो पहले एक रणनीति पर अभ्यास करें, उसके बाद ही बाजार में प्रवेश करें
शेयर बाजार में कैसे करें निवेश की शुरुआत
शेयर बाजार में कैसे करें निवेश की शुरुआत दोस्तों बहुत से ऐसे लोग हैं जो शेयर बाजार में कम लागत से शुरुआत करना चाहते हैं. लेकिन उनको लगता है शेयर बाजार में निवेश करने के लिए बहुत से पैसों की आवश्यकता होती है। तो जो लोग इस विचारधारा से आए हैं कि शेयर बाजार में निवेश करने के लिए बोहोत से पैसों की आवश्यकता होती है।
तो मैं उनको बता दूं ऐसा बिल्कुल नहीं है, आप प्रति माह ₹500 या ₹1000 से निवेश की शुरुआत कर सकते हैं, लेकिन आपको पता होना चाहिए ₹1000 से आखिर शेयर बाजार में कैसे करें निवेश की शुरुआत, तो इस लेख में हमने आपको शेयर मार्केट में निवेश कैसे करें, इसके बारे में विस्तार से और सरल तरीके से बताया है जिसे आपको अंत तक जरूर पढ़ना चाहिए
डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलें
शेयर बाजार में निवेश शुरू करने के लिए सबसे पहले आपको एक डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट की आवश्यकता होगी, डिमैट अकाउंट यानी आप किसी भी कंपनी के शेयर को खरीद लेते हो. तो उस खरीदे हुए शेयर को रखने के लिए आपको डिमैट अकाउंट कि आवश्यकता होगी
ट्रेडिंग अकाउंट यानि आप किसी भी कंपनी के शेयर को जब खरीदना चाहते हो. तो उस शेयर की कीमत को चुकता करने के लिए आपको ट्रेडिंग अकाउंट की आवश्यकता होगी।
लेकिन सबसे पहले आपको अपने बैंक अकाउंट के पैसे को ट्रेडिंग अकाउंट में ऐड करने होंगे। ताकि आप किसी भी शेयर को आसानी से खरीद सके और किसी भी शेयर को बेचकर ऊस राशीं को ट्रेडिंग अकाउंट मे जमा कर सके
डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट ओपन करने के लिए आपको एक ब्रोकर्स की आवश्यकता होगी, इंडिया में बहोत से ऐसे brokers है जो यह दोनों अकाउंट फ्री में या पैसे लेकर खोलकर देते हैं ।
लेकिन आपको उसी ब्रोकर से यह दोनों अकाउंट खोलने होंगे जिनकी ब्रोकरेज चार्ज बहुत ही कम मात्रा में हो, हमने नीचे भारत के सबसे अच्छे ब्रोकर्स की लिस्ट बताई है जिनकी ब्रोकरेज चार्ज बहुत ही कम है और उनपर भरोसा भी किया जा सकता है।
डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए जिन उपयोगी डाक्यूमेंट्स की जरूरत होती है उनकी लिस्ट नीचे दी गई है
6 महीने कि बैंक अकाउंट स्टेटमेंट
एक सही कंपनी का चुनाव करना
शेयर बाजार में किसी भी शेयर में निवेश करने से पहले आपको एक सही कंपनी का चुनाव करना आना चाहिए क्योंकि एक सही कंपनी का चुनाव करने से आपको नुकसान बहुत ही कम मात्रा में हो सकता है
एक सही कंपनी का चुनाव करने के लिए आपको उस कंपनी के ट्रेक रिकॉर्ड,प्रोडक्ट, सर्विस,मैनेजमेंट, और वह कंपनी मार्केट में कितने सालोंसे है, और कितने परसेंट से उसकी ग्रोथ बढ़ रही है। साथ ही उस कंपनी का कस्टमर सेटिस्फेक्शन कैसा है
यह सब देखकर अगर आपको लगता है यह कंपनी लंबे समय तक निवेश करने के लिए सही साबित हो सकती है तो आप उसमें लंबे समय तक निवेश कर सकते हैं और अच्छा रिटर्न कमा सकते हैं
कम निवेश से शुरुआत करें
शेयर बाजार में ऐसे बोहोत से लोग हैं जिनकी विचारधारा करोड़पति बनने की होती है वो उसी विचारधारा से बड़ी पूंजी के साथ एक ही दीन मे बोहोत ज्यादा शेयर में निवेश करते हैं, उन्हें कुछ दिन तो अच्छा प्रॉफिट तो होता है लेकिन उनको शेयर बाजार की जानकारी ना होने के कारण लालच में आकर अपना पूरा पैसा लगा देते हैं
और जब शेयर की प्राइस घट जाती है तो उनको नुकसान होता है वह शेयर बाजार एक जुआ है समझ कर छोड़ देते हैं इसीलिए शेयर बाजार में शुरुआत में आपको कम ही पूंजी से काम चलाना चाहिए ताकि आपको उससे बहुत कुछ सीखने को मिले और ज्यादा नुकसान न उठाना पड़े इसीलिए शेयर बाजार में कम पूंजी के साथ ही शुरुआत करे
निर्धारित लक्ष्य बनाए रखें
जब भी आप शेयर मार्केट में निवेश करोगे तो आपको एक निर्धारित लक्ष्य के साथ निवेश करना चाहिए ऐसा करने से आप अपना प्रॉफिट और लॉस दोनों सीमित रख सकते हैं खुदके रिसर्च किए गए स्टॉक में निवेश करें किसी भी शेयर मार्केट टिप्स के चलते निवेश ना करें ध्यान दे ज्यादा से ज्यादा कंपनी के बारे में आपको रिसर्च करनी चाहिए और जब भी ट्रेडिंग करोगे तो आप अपना प्रॉफिट बुक करें और स्टॉपलॉस जरूर लगाए
भावनाओं पर नियंत्रण रखें
कुछ लोग किसी स्टॉक को लंबे समय तक रखने के लिए निवेश करते हैं, ताकि आगे चलके वो स्टॉक ज्यादा रिटर्न दे सके लेकिन जब भी किसी stock का प्राइस घट जाता है तो वह लोग भावनाओं के बाहाव में आकर उस स्टॉक को sale कर देते हैं
लेकिन कुछ ही दिनों में वही स्टॉक की प्राइस बढ़ जाती है और ऐसे लोगों को बहोत ही भारी मात्रा मे नुकसान और अफसोस होता है, तो जब भी निवेश करें तो एक निर्धारित लक्ष्य के साथ और भावनाओं पर नियंत्रण रखने के साथ-साथ निवश करे
निष्कर्ष
शेयर बाजार में कैसे करें निवेश की शुरुआत इस लेख में हमने आपको बहुत ही बेसिक से जानकारी दी है लेकिन आपको और भी कुछ जानकारी हासिल करनी होगी तभी आप एक सफल इन्वेस्टर बन सकते हैं आपको
अलग-अलग प्रकार के course खरीदने होंगे और अच्छे सेमिनार को अटेंड करना होगा ताकि आप बड़ी जल्दी से सीख पाए अगर आपको इस लेख में कुछ सीखने समझने को मिला है तो आप इसे शेयर जरूर करें
नमस्ते दोस्तों आपका स्वागत है आपको इस website पर शेयर मार्केट, म्यूचल फंड, शेयर प्राइस पेपर ट्रेडिंग के फायदे और नुकसान टारगेट, इन्वेस्टमेंट,से जुड़ी सभी प्रकार की जानकारी रिसर्च के साथ हिंदी मे दी जाएगी
आप ट्रेडिंग के शिकारी या शिकार? जानिए अपने आपको
किसी भी शेयर में जब बड़ी हलचल होती है, बड़ा उतार-चढ़ाव आता है, तब दो प्रकार के लिए लोग सबसे ज्यादा सक्रिय होते हैं। पहला होता है, शिकार, दूसरा शिकारी। सुनने में शायद आपको अजीब लगे लेकिन बात बिलकुल सच है। जंगल की भाषा शेयर बाजार पर भी किसी हद तक लागू होती है। शिकारी का अर्थ है- बड़े-बड़े प्रोफेशनल ट्रेडर, हाई नेटवर्थ इंडीविजुअल्स, म्यूचुअल फंड हाउस, एफआईआई और डीआईआई जैसे बड़े-बड़े दिग्गज। शेयर मार्केट को इधर का उधर करने वाले ऑपरेटर्स वगैरह। इस तबके के लिए शेयर बाजार एक पेपर ट्रेडिंग के फायदे और नुकसान दुधारू गाय है जो कभी कभार लतार भी मार देती है। लेकिन वे इससे विचलित नहीं होते हैं। पूरी प्रतिबद्धता के साथ ट्रेडिंग करते हैं। सारे दांव-पेंच आजमाते हैं। दूसरी तरफ शिकार के अंतर्गत आते हैं- लाखों छोटे निवेशक और ट्रेडर। जो अपनी कुछ हजार या ज्यादा से ज्यादा कुछ लाख रुपए की पूंजी लेकर बाजार में उतरते हैं। ये लोग सोचते हैं कि अगर पैसा बैंक में पड़ा रहेगा तो एफडी पर दस फीसदी से ज्यादा ब्याज नहीं मिलेगा लेकिन शेयर बाजार में पैसा लगाया तो साल-भर में 20-25 फीसदी तो कमा ही सकते हैं। निराशा तब होती है जब मुनाफा होने की जगह मूलधन में भी सेंध लग जाती है। यानी जिस भाव में खरीदा था, शेयर की कीमत उससे भी नीचे चली जाती है। तब वे सोचते हैं कि शेयर मार्केट में बेकार घुसे, इससे तो अच्छा था कि बैंक में ही पैसा पड़ा रहता। कुछ ब्याज तो मिलता, मूलधन में बट्टा तो नहीं लगता। इन दोनों वगरें में सबसे बड़ा अंतर यह है कि शिकार वर्ग..शिकारी वर्ग को ही टारगेट बनाता है। शिकारी ट्रेडर आम तौर पर मुनाफा कूटते हैं और शिकार वाले अक्सर रोते नजर आते हैं।
रिटेल ट्रेडिंग में सतर्क रहने के सूत्र
1. किसी भी ट्रेड में एक का फायदा दूसरे का नुकसान होता है, जिसे फायदा वह शिकारी, जिसका नुकसान वह शिकार
2. फायदे में वही रहता है जो पेपर ट्रेडिंग के फायदे और नुकसान ट्रेडिंग स्टाइल को लगातार विकसित करता रहता है
3. सिर्फ मुनाफे के बारे में सोचने से घाटा
4. किसी भी ट्रेड को फाइनल करते समय सबसे पहले नुकसान का हिसाब कर लें
5. एवरेजिंग करना हमेशा एक अच्छा विकल्प नहीं होता है
एक साथ दो लोग खुश नहीं सकते: शेयर बाजार का एक कड़वा सच है कि किसी भी ट्रेड में एक साथ दो लोग खुश नहीं हो सकते हैं। अगर आपने किसी शेयर को ये सोच कर खरीदा कि वो चढ़ेगा तो बेचने वाले ने भी यह सोच कर बेचा होगा कि ये अब गिरेगा। जाहिर सी बात है कि क्रेता और विक्रेता दोनों में से एक का अनुमान ही सही निकलेगा। और इस तरह एक का घाटा ही दूसरे का मुनाफा साबित होगा। जो ट्रेडर ज्यादातर मुनाफे में रहते हैं, वे शिकारी वर्ग में शामिल हो जाते हैं और बाकी शिकार वर्ग में। यहां ज्यादातर शब्द पर गौर कीजिए क्योंकि कोई भी ट्रेडर हर सौदे में मुनाफा नहीं कमा सकता है। शेयर मार्केट की अनिश्चितता इतनी ज्यादा होती है कि नफा के साथ नुकसान लगा ही रहता है।
खुद की ट्रेडिंग स्टाइल पहचानें: इतना पढ़ चुकने के बाद आपने मन ही मन अपना मूल्यांकन कर लिया होगा कि आप किस वर्ग के ट्रेडर हैं? शिकार या शिकारी? साफ बात है कि शिकारियों का मुनाफा शिकारों की जेब से ही निकलता है। तो ऐसे में हर एक ट्रेडर यही चाहेगा कि वह अगर शिकार वर्ग में हैं तो किसी तरह शिकारी वर्ग में एंट्री करे। लेकिन इसके लिए जरूरी है कि आप इन दोनों के अंतर को गहराई से समझें। मूल अंतर है- सोच और संसाधन का। बड़े और सफल ट्रेडर का शेयर बाजार के प्रति एप्रोच आम ट्रेडर के मुकाबले ज्यादा विकसित होता है। उनके पास बड़ी पूंजी की ताकत होती है। वे बड़ा घाटा सहने की शक्ति रखते हैं। लेकिन इन सबसे अहम बात यह है कि वह ट्रेडिंग को लेकर एक परिपक्व रवैया अपनाते हैं। वे जानते हैं कि कब कौन सा दांव उल्टा पड़ गया है। कौन सा सौदा गलत दिशा में चला गया है? वे वक्त गंवाए बिना उससे निकल लेते हैं। स्टॉप लॉस लगने से खुशी उन्हें भी नहीं होती है लेकिन वे इसे ट्रेडिंग में जोखिम का अनिवार्य हिस्सा मान कर चलते हैं। इसके विपरीत खुदरा निवेशकों में एक आम प्रवृत्ति होती है कि अगर कोई सौदा उल्टी दिशा में चला गया तो वे स्टॉप लॉस लगाने की जगह एवरेजिंग शुरू कर देते हैं। एवरेजिंग यानी लागत को कम करना। आपने अगर किसी कंपनी के 50 शेयर 80 रुपए के भाव से खरीदे और उसकी कीमत गिर कर 76 रुपए पर पहुंच गई। आपको लगा कि कीमत अब और नीचे नहीं जाएगी, इसलिए आपने 25 शेयर 76 रु. के भाव पर खरीद लिए। अब आपके पास 75 शेयर हो गए, जिनकी एवरेज यानी औसत कीमत 78.67 रुपए हो गई। ट्रेडर एवरेजिंग करते समय यह नहीं सोचा कि अगर यह और गिर कर 75 या 73 रुपए पर चला गया तो वह क्या करेगा। किस लेवल तक खरीदेगा, कितनी मात्रा में खरीदेगा। वह कितने वक्त तक शेयर को होल्ड करके रख सकता है। अगर पूरा चक्र उसके आकलन के विपरीत चला गया तब वह कितने बड़े घाटे में फंस जाएगा। यहीं पर नौसिखिए और खिलाड़ी ट्रेडर, शिकारी और शिकार ट्रेडर के रास्ते अलग हो जाते हैं। तो याद रखिए ट्रेडिंग स्टाइल और एप्रोच फर्क ही मुख्यत: तय करता है कि आप शेयर बाजार में पिटने गए हैं या पीटने?